मिर्जापुर के रैपुरिया नरायनपुर गाँव के निवासी रामनरेश ने 20 वर्ष की अवस्था से ही अपने इस अनोखे काम से लोगों के दिलों में एक खास जगह बना ली है। वह सिर्फ एक व्यक्ति नहीं, बल्कि समाज के लिए एक प्रेरणा बन चुके हैं। उनकी यह कहानी बताती है कि अगर आपके मन में साहस हो, तो आप किसी भी जोखिम से डरते नहीं हैं।
निडरता ही उनकी सबसे बड़ी ताकत
रामनरेश कहते हैं कि "जब मन में हौसला बुलंद हो, तो कुछ भी किया जा सकता है।" यही बात उनके काम में भी दिखती है। पिछले 30 सालों में उन्होंने हजारों सांपों को पकड़ा है, जिनमें से कई तो बेहद जहरीले थे। लेकिन वे बताते हैं कि आज तक उनके साथ कोई दुर्घटना नहीं हुई।
वह बताते हैं कि सांपों को पकड़ने के लिए उन्हें ज्यादा उपकरणों की ज़रूरत नहीं पड़ती। वे सिर्फ एक कैंची और सिकंजे का उपयोग करते हैं। उनका मानना है कि सांप को पकड़ने के लिए सबसे ज़रूरी चीज है धैर्य और दिमाग का सही इस्तेमाल।
समाजसेवा का जज्बा
रामनरेश को यह काम करने के लिए कोई पैसे नहीं मिलते, लेकिन उन्हें इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता। वह कहते हैं कि यह उनके लिए एक तरह की सेवा है।
मीडिया से बात करते हुए उन्होंने बताया कि उनका काम लोगों को सांपों से बचाना है। वह लोगों को यह भी सिखाते हैं कि सांपों को बेवजह मारना नहीं चाहिए।
गाँव में रहने वाले लोग भी बताते हैं कि रामनरेश ने कई बार उनकी मदद की है। अगर किसी घर में सांप निकल आता है, तो वे तुरंत रामनरेश को बुलाते हैं, क्योंकि उन्हें पता है कि रामनरेश उन्हें बिना किसी नुकसान के बाहर निकाल लेंगे।
रामनरेश की यह कहानी हमें बताती है कि अगर आप मन लगाकर कोई भी काम करते हैं, तो कोई भी मुश्किल आपके लिए बड़ी नहीं होती। वह आज भी लोगों के लिए एक हीरो हैं और अपने समाज की सेवा कर रहे हैं।